Sad Hindi Shayari – मैं अक्सर रात में यूं ही सङक पर निकल आता हूँ Uncategorized मैं अक्सर रात में यूं ही सङक पर निकल आता हूँ, यह सोचकर कि कहीं चांद को तन्हाई का अहसास न हो…